सावन महीने के शिवलिंग पर जरूर चढ़ाए ये 5 चीजें आज हम इस पोस्ट में आपको बताएंगे साल 2023 में सावन माह की शुरुआत कब से होगी और सावन महीना कब समाप्त होगा । साथ ही जानेंगे। सावन माह में शिवलिंग पर चढ़ाए जाने वाले कुछ खास चीजों के बारे में ।
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भगवान शिव का प्रेम महीना सावन शुरू होने वाला है। इस पर सावन माह की शुरूआत 4 जुलाई से होगी और इसका समापन 31 अगस्त को होगा। इस बार अधिक मास होने के कारण सावन 2 महीने का होगा । सावन के महीने में कई बड़े और अद्भुत संयोग बनेंगे। जिस कारण शिवभक्त का ये महिना और भी खास होगा । मान्यता है कि सावन महीने में सोमवार में अगर भगवान शिव की विधिवत पूजा अर्चना कर उन्हें कुछ खास और प्रिय चीजे अर्पित की जाए तो इससे वे जल्दी प्रसन्न होती हैं।
सावन के महीने में शिवलिंग पर क्या चढ़ाना चाहिए ?
शास्त्रों के अनुसार वह कौन सी चीजें हैं जो भगवान शिव को अति प्रिय है। सावन महीने में अगर आप इन चीजों को महादेव पर अर्पित करते हैं तो आपकी सभी इच्छाएं पूरी हो सकती है। भगवान शिव के प्रिय पुष्प शास्त्रों के अनुसार भगवान शिव को कुछ-पुष्प बेहद प्रिय है तो वहीं कुछ पुष्प शिव पूजा में निषेध भी माने गए हैं ।
मान्यता है कि सावन में शिव जी को शमी बेला और अलसी के फूल चढ़ाना बेहद शुभ होता है। इसके अलावा कनेर चमेली जूही और सफेद पुष्प भी महादेव को अति प्रिय हैं । हालांकि ध्यान रखें कि भगवान शिव को उनकी पूजा में केतकी के पुष्प ना चढ़ाएं । बेल पत्री पौराणिक कथाओं के अनुसार बेल पत्री भगवान शिव को अति प्रिय है।
श्रावण मास में भगवान भोलेनाथ की आराधना में उनके प्रिय बेलपत्र उन्हे जरूर अर्पित करना चाहिए। मान्यता है कि बेलपत्र के तीन पत्ती भगवान शिव के तीन नेत्रों का प्रतिनिधित्व करते हैं। सावन में बेलपत्र से पूजा करने वाले भक्तों की आध्यात्मिक शक्ति और मनोकामना पूरी होती है।
काले तिल शास्त्रों के अनुसार शिव पूजा में काले तिल अर्पित करने का भी महत्व है। भगवान शिव को काला तिल अर्पित करना अत्यंत शुभ माना जाता है। मान्यता है कि जो भक्त पवित्र श्रावण मास में शिवलिंग पर जल में काले तिल डालकर उनका जलाभिषेक करता है तो भगवान शिव की कृपा से उसे मानसिक और शारीरिक शांति मिलती है।
हर हिंदू मान्यताओं के अनुसार सावन में भगवान शिव को हरिमोहन अर्पित करना सावन मास में शिवलिंग पर हरीश साबुत मूंग अर्पित करने से जीवन में आ रही बाधाओं का अंत होता है और किसी विशेष या मनोकामना की पूर्ति होती है।
शमी के पत्ते शास्त्रों के अनुसार भगवान शिव को शमी पत्र भी बेहद प्रिय है। शमी को शनिदेव का पेड़ माना जाता है। मान्यता है कि सावन के महीने में शिवलिंग पर शमी के पत्ते या पुष्प चढ़ाने से भोलेनाथ के साथ-साथ शनिदेव का आशीर्वाद प्राप्त होता है और साथ ही सनी ढैया या साढ़ेसाती का प्रभाव भी कम होता है।
दोस्तों मैं आपसे विनम्र निवेदन करता हूं कि अगर आप वाकई में भगवान शिव जी को अपने दिल से मानते हैं तो आप हमारे ब्लॉग पर विजिट करते हैं । क्योंकि यहां पर आपको हमेशा न्यू न्यू जानकारी दी जाती है । आज के लिए इतना ही हमारे ब्लॉग के साथ अंत तक बने रहने के लिए आप सभी लोगो को दिल से धन्यवाद ,,,,,,,,,
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